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Awasiya Vidyalaya Teacher: आवासीय विद्यालय में शिक्षक बन ने का मौका, बिना परीक्षा के चयन प्रक्रिया शुरू

Awasiya Vidyalaya Teacher: जो भी महिलाएं शिक्षा के क्षेत्र में काम करना चाहती हैं और समाज के पिछड़े वर्ग की बच्चियों को पढ़ाना चाहती हैं, उनके लिए कस्तूरबा गांधी आवासीय विद्यालय में शिक्षक बनने का सुनहरा मौका है। यहां पर बिना किसी लिखित परीक्षा के शिक्षकों की भर्ती की जाती है, और पूरी चयन प्रक्रिया मेरिट व साक्षात्कार के आधार पर होती है।

कस्तूरबा गांधी आवासीय विद्यालय क्या है?

यह विद्यालय भारत सरकार की योजना के तहत चलाए जाते हैं, जिनका उद्देश्य ग्रामीण और पिछड़े इलाकों की बच्चियों को मुफ्त और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा देना है। इन विद्यालयों में SC, ST, OBC, अल्पसंख्यक और गरीब वर्ग की छात्राओं को प्राथमिकता दी जाती है। यहां कक्षा 6 से 12 तक की पढ़ाई पूरी तरह मुफ्त होती है।

क्या-क्या सुविधाएं मिलती हैं?

इन विद्यालयों में छात्राओं को शिक्षा के साथ-साथ रहना, खाना, कपड़े, किताबें, और मूलभूत सुविधाएं सब कुछ फ्री में दिया जाता है। इसका पूरा खर्चा सरकार उठाती है। बच्चियों को समाज की मुख्यधारा से जोड़ने के लिए यह एक मजबूत कदम है।

कौन बन सकती हैं शिक्षक?

इन स्कूलों में महिला शिक्षकों की ही नियुक्ति होती है। फुल टाइम, पार्ट टाइम और स्पेशल टीचर जैसे अलग-अलग पदों पर चयन होता है। आवेदक ग्रामीण क्षेत्रों में बच्चियों को पढ़ाने की इच्छा रखती होनी चाहिए। उन्हें वेतन और अन्य भत्ते भी मिलते हैं।

फुल टाइम शिक्षिका बनने के लिए योग्यता

पूर्णकालिक शिक्षिका बनने के लिए गणित, विज्ञान, हिंदी, अंग्रेजी जैसे विषयों में ग्रेजुएशन और B.Ed की डिग्री जरूरी होती है। इसके अलावा CTET या TET जैसी परीक्षा पास होनी चाहिए। उम्र सीमा आम तौर पर 25 से 45 वर्ष के बीच तय की जाती है।

पार्ट टाइम या विशेष शिक्षिका की भूमिका

कंप्यूटर, शारीरिक शिक्षा, कला, संगीत जैसे विषयों में पार्ट टाइम शिक्षकों की नियुक्ति की जाती है। इसके लिए ग्रेजुएशन के साथ बीएड या समकक्ष डिग्री, कंप्यूटर शिक्षक के लिए BSc या PGDCA, शारीरिक शिक्षक के लिए B.P.Ed जैसी योग्यताएं अनिवार्य होती हैं।

मुख्य जिम्मेदारियां क्या होती हैं?

इन शिक्षकों का काम सिर्फ पढ़ाना नहीं होता, बल्कि हॉस्टल में रह रही छात्राओं की देखभाल, मार्गदर्शन, अनुशासन, आत्मनिर्भरता और नैतिक मूल्यों की शिक्षा देना भी होता है। वे छात्राओं के समग्र विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं।

चयन प्रक्रिया क्या है?

कस्तूरबा गांधी विद्यालय की भर्ती अलग-अलग ज़िलों और राज्यों के अनुसार निकलती है। हर जिले की वेबसाइट पर अलग-अलग नोटिफिकेशन जारी होता है। इसलिए उम्मीदवारों को अपने जिले की वेबसाइट पर नजर बनाए रखनी चाहिए।

SS School

इस वेबसाइट के लेखक देवेंद्र कुमार हैं, जिन्होंने ग्रेजुएशन किया है और उनकी उम्र 32 वर्ष है। वे हिंदी और अंग्रेजी दोनों भाषाओं में लिखते हैं और शिक्षा, सरकारी योजनाएं, नौकरियों और अन्य उपयोगी विषयों पर जानकारी देने का 6 वर्षों का अनुभव रखते हैं।

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